भोपाल। मध्य प्रदेश मे मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की सरकार गरीब और मजदूर का पूरा ख्याल रखने का वादा कर सरकार में आई है। मोहन सरकार मजदूरों को 60 की उम्र के बाद पेंशन देने की योजना पर विचार कर रही है। इसके लिए तैयारी शुरू हो गई है बहुत जल्दी घोषणा होने वाली है। प्रदेश के श्रम पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद पटेल ने विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान यह बात कही है। प्रहलाद पटेल ने कहा है कि असंगठित क्षेत्र में काम कर रहे मजदूरों को 60 वर्ष की आयु के बाद पेंशन दिया जाना निश्चित किया जा रहा है। कितनी पेंशन दी जाएगी इस पर अभी विचार होना शेष है। इसके लिए विचार विमर्श का चल रहा है बहुत जल्दी प्रदेश के असंगठित क्षेत्र के मजदूरों को बड़ी खुशखबरी मिलने वाली है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की टीम पूरी तरह से प्रदेश के विकास कार्य में जुड़ चुकी है। प्रदेश के श्रम पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद पटेल ने विभागीय समीक्षा के दौरान असंगठित क्षेत्र के मजदूरों को लेकर कई बड़े सुधार करने की घोषणा की है। साथ ही असंगठित क्षेत्र के मजदूरों को 60 वर्ष की आयु के बाद पेंशन देने की योजना पर काम किया जा रहा है।
श्रम पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद पटेल ने कहा है कि 60 की उम्र के बाद मजदूर में काम करने की क्षमता घट जाती है ऐसे में उनके शारीरिक श्रम को ध्यान में रखते हुए पेंशन की योजना बनाई जा रही है। श्री पटेल का कहना था कि मजदूरों के संबंध में प्रावधानों और निर्णय में संवेदनशीलता का ध्यान रखा जाए।
मजदूरों के पंजीयन निरस्त होने की स्थिति में अनुविभागीय आधिकारिक के यहां होने वाली अपील के प्रावधान को हटाया जाएगा। श्रम मंत्री का कहना है कि गरीब व्यक्ति को अनावश्यक रूप से होने वाली परेशानी से बचाना सरकार का मुख्य उद्देश्य है। कहा गया है की अपील का प्रावधान जनपद पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी या श्रम बोर्ड के समक्ष विचार के बाद निर्णय लिया जाएगा।
उन्होंने कहा कि असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले मजदूरों को 45 वर्ष की उम्र के बाद बीमा योजना में कर करने संबंधी निर्णय लिया जाएगा। साथ ही 60 वर्ष की उम्र के बाद पेंशन का लाभ दिया जाए। जनकल्याण संबल योजना तथा मुख्यमंत्री जन कल्याण संबल योजना के विभिन्न प्रावधानों के संबंध में जानकारी प्राप्त की।