उत्तरप्रदेश ---
उत्तर प्रदेश के बांदा की रहने वाली राधा ने UPSC जियो-साइंटिस्ट परीक्षा 2023 में 7वीं रैंक पाकर अपने परिवार के साथ-साथ जनपद का भी मान बढ़ाया है। एक बुंदेलखंड के किसान की बेटी ने पहले ही प्रयास मे 7वी रैंक हासिल करके दूसरों को भी इस क्षेत्र में जाने की प्रेरणा दे दी है।
जब हौसले बुलंद हो तो सफलता भी निश्चित कदम चूमती है। यह बुंदेलखंड के एक किसान की बेटी ने कर दिखाया। जिसने पहले ही प्रयास में यूपीएससी की परीक्षा पास कर ली। इस सफलता पर परिवार के साथ-साथ पूरा गांव गौरवान्वित महसूस कर रहा l
बांदा की राधा ने UPSC के पहले प्रयास में ही 7वीं रैंक हासिल की है।
राधा के पिता ने 22 साल पहले छोड़ दिया था ! घर
मूल रूप से बांदा जनपद की देहात कोतवाली क्षेत्र के पचनेही गांव के रहने वाले किसान अनिल अवस्थी बताते हैं कि उनके एक बेटा और तीन बेटियां हैं। उनकी पत्नी एमए किए है , लेकिन हाउस वाइफ है। बच्चों का भविष्य बनाने के लिए उन्होंने 22 साल पहले यानी कि 2001 में घर छोड़ दिया था। फिर लखनऊ में एक किराए के मकान में रहकर बच्चों को पढ़ाया लिखाया।
जितनी लगन से राधा के पिता बच्चों की पढ़ाई पर ध्यान दे रहे थे। बेटी भी उतनी ही मेहनती निकली। राधा ने अपनी स्कूलिंग से लेकर बीएससी तक की पढ़ाई लखनऊ से की। इसके बाद केंद्रीय विद्यालय सागर से एमटेक किया। इसी दौरान उसने यूपीएससी की तैयारी शुरू कर दी थी और राधा की मेहनत रंग लाई। पहले अटेंप्ट में ही यूपीएससी जियो-साइंटिस्ट एग्जाम क्रैक कर लिया है ।
बुंदेलखंड के किसान अनिल अवस्थी के तीनों बच्चे कामयाब हो गए। बेटा इंजीनियर, एक बेटी लेक्चरर, दूसरी बैंक मैनेजर है और अब तीसरी बेटी राधा ने यूपीएससी क्रैक किया है। राधा अपनी कामयाबी का पूरा श्रेय अपने माता-पिता को देती है।