अनुराग श्रीवास्तव के साथ बबलू सिंह सेंगर महिया खास
जालौन (उरई)। सरकार संचरी रोगों की रोकथाम के लिए अभियान चला रही है तथा लोगों को साफ-सफाई के लिए प्रेरित कर रही है। वहीं मेडिकल कालेज उरई की हालत बदहाल है। यहां पर मरीजों व तीमारदारों के लिए शुद्ध शीतल जल के साफ साफ सफाई तक की व्यवस्था नहीं है। कोरोना की चैथी लहर को देखते हुए सरकार स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर करने का प्रयास कर रही है तथा अस्पतालों में उपलब्ध सुविधाओं को सुदृढ़ कर रही है। वहीं जनपद मुख्यालय पर स्थित राजकीय मेडिकल कालेज में मूलभूत सुविधाएं तक उपलब्ध नहीं है। यहां पर भीषण गर्मी के मौसम में मरीजों व तीमारदार को शुद्ध शीतल जल तक उपलब्ध नहीं है। इसके अलावा गर्मी के मौसम आने वाले मरीजों को पर्याप्त ओ आर एस तक उपलब्ध नहीं है। मरीजों के तीमारदार मेडिकल के बाहर बगैर आयोडीन के सस्ता नमक लेकर ओ आर एस गोल बनाकर काम चला रहे। मेडिकल कालेज में मरीजों व तीमारदारों के लिए बने शौचालयों की हालत बद से बदत्तर है। दवा वितरण कक्ष के बगल में बने शौचालय में गंदा पानी भरा हुआ है।वाशपेशन टूटे पड़े हैं। नल की टोटी गायब है। अंधेरे में लोग खुले में शौच करने के लिए मजबूर है। मेडिकल कालेज में शौचालयों प्रयोग लायक न होने के कारण मजदूर व तीमारदार दोनों परेशान हैं।समाजसेवी मनोज रिछारिया, विनय निगम, दीपक सोनी, रहीस नाना, अखिलेश लाक्षाकार, अनुराग आदि ने मेडिकल कॉलेज में फैली अव्यवस्था को दुरुस्त कराने के मुख्यमंत्री को शिकायत भेजा है।समाजसेवियों ने मुख्यमंत्री को बताया कि मेडिकल कॉलेज में फैली अव्यवस्था या सुविधा न मिलने पर जब प्राचार्य को फोन करो तो वह फोन नहीं उठाते हैं जिससे समस्या का समाधान नहीं हो पाता है।
जन औषधि केंद्र में लटक ताला
जालौन। मरीजों के लिए सस्ती दवाएं उपलब्ध कराने के लिए मेडिकल कॉलेज में जन औषधि केंद्र खोला गया है किन्तु इसमें ताला लटका रहता है। केन्द्र में ताला लटक के कारण लोगों को सस्ती दवाएं उपलब्ध नहीं हो पा रही है तथा बाजार से महंगी दवाएं खरीदने को मजबूर होना पड़ रहा है।